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आप क्या सोच रहे हैं? जानिए अपनी सोचने की क्षमता और महत्व : Motivational

आप क्या सोच रहे हैं? जानिए अपनी सोचने की क्षमता और महत्व : Motivational

जीवन

आप क्या सोच रहे हैं? जानिए अपनी सोचने की क्षमता और महत्व : Motivational

क्या आप जानते हैं की ‘जो आप सोचते हैं आप वही बन जाते हैं।’ तो फिर अपनी सोच को नयी दिशा कैसे दें? क्या कभी आपने सोचा है की हमारे विचार हमें दिशा देते हैं। जानिए अपनी सोच की क्षमता और महत्व

सोचूराम ने सोचों में आपना जीवन बिता दिया। काम कुछ नहीं किया, पर इतना सोचा की उसकी कुछ करने की हिम्मत ही नहीं रही। उसने अपनी प्रेरणा के स्त्रोत को सही से इस्तेमाल नहीं किया।

हम कोई काम करें या न करें। सोचने, विचारने का काम हम हर समय करते रहते हैं। और एक अछी सोच कभी कभी इतनी बुरी बन जाती है की हम हैरान रह जाते है की यह बात हम क्यों सोच रहे हैं। सुबह, दुपहर, शाम, रात और यहां तक की नींद में भी सोचते और बढ़-बढ़ाते रहते हैं और जो बात हम सोचते हैं वह करते हैं और जो नहीं सोचते वह नहीं करते। क्यों?

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विचार का महत्व: विचार कहाँ से आते हैं? क्या आपने कभी सोचा है?

सोचने, विचारने, चुनाव करने की क्षमता हमें परमेश्वर का वरदान है इसलिए हम कभी भी, कुछ भी सोचते हैं। इसमें कोई पाबंदी नहीं। पर क्या आप जानते हैं कि आपकी सही या गलत बातें जो आप सोचते हैं आपके जीवन को उसी दिशा मे मोड़ देती है।

यह कहावत तो आप ने सूनी ही होगी कि “आप जो अपने मन में सोचतेे हैं आप वह बन जाते हैं।”

क्या आप जानते हैं आप जो अपने मन मे विचारते हैं आपका शरीर उसे मानने लगता है जैसे कि यदि आप डर के बारे में सोचते हैं, तो आप सच में डर में जीने लगते हैं। वहम वाली बातें विचारते हैं तो वहम मे जीने लगते है। क्या आपने कभी सोचा है की हमारी सोच हमें कितना प्रभावित करती है।

जैसे “काली बिल्ली आपका रास्ता काट गयी” इस वहम में आपके साथ कि कुछ बुरा होगा तो सच मे कुछ बुरा होगा क्योंकि आप पूरा दिन इसके बारे में सोचेंगे और डरेंगे और आपका सारा ध्यान इस बात में लगा रहेगा जिसके कारण आप अपने काम मे ध्यान नहीं देंगे और सही जगह ध्यान न देने के कारण आपसे कोई काम गलत होगा और अपराधी बेचारी बिल्ली बन जाएगी।

क्योंकि आपने अपने मन मे यह बात मान ली थी कि बिल्ली के कारण आपके साथ गलत होगा और आप उस वहम को जीने लगे जो कि अस्तित्व में है ही नहीं।

आपने वह लोग तो देखे ही होंगे जो दवाइयाँ खाते रहते हैं क्योंकि वह सोचते हैं कि वह बीमार हैं इसलिए उनका शरीर बीमार महसुस करता है जब के वह बीमार नहीं है और कुछ लोग जो वाकई में बीमार हैं यह ही सोचते रहते हैं कि मैं ठीक हूँ इसलिए उनका शरीर समय से पहले ठीक हो जाता है। और ये बातें उनकी सोच में घर करने लगती हैं।

कैसे? एक विचार के सोचने से। जी हाँ! क्या कभी सोचा है आपने, आपके विचार मे इतनी शक्ति है कि आप अपने शरीर में  ठीक हो जाएँगे या वह करने में कामयाब होंगे जो आम लोग नहीं कर पाते या आपके गलत विचार सोचने के कारण आप निराश रहेंगे, बीमार रहेंगे, जो काम करना चाहते हैं उसमें सफल नहीं हो पाएँगे।

आपके लिए मोटिवेशन और प्रेरणा

1.आगे का सोचे: पुरानी बातें बीत गयी है, उनसे सीख ले और आगे बड़े। बातें जैसे की पढ़ाई पूरी न कर पाया, कामयाबी जो नही मिली, जैसा सोचा था वैसी नौकरी नही मिली, किसी ने दिल दुखाया जो आपको परेशान कर रहा है, किसी को खो देने का दुख या अपने आने वाले कल की चिंता करता रहता है और अपने आज को खुल के नहीं जी पाता जिसके कारण वह डिप्रेशन में जीता रहता है या कभी भी अपने जीवन से संतुष्ट नहीं रहता।

2.दिल की सोच को बदलिए: आपका दिमाग़ आपके दिल की सोच को कार्य में बदलता है। अगर आप टूटे हुए, दुखी, पत्थर दिल से कुछ सोचेंगे तो वो नेगेटिव ही होगा। अपने दिल को चंगायी दिलाइये।

मैं धोखे से बहुत गुज़री हूँ और एक बात मैंने सिखी है की माफ़ी में आपका दिल और दिमाग़ आगे बड़ सकता है। आप बदला लेके अपने आप को और भी तोड़ देते हैं। अगर आप आगे बढ़ना चाहते हैं तो माफ़ी दे और सही राह पे चलिए।

3.चौकस रहो, कि क्या सुनते हो?: अपने जीवन के अधिकांश समय के लिए, मैंने बस वही सोचा जो मेरे दिमाग़ में बात आयी। मेरे मन में जो कुछ था वह ज्यादातर झूठ था या शैतान बकवास बता रहा था। शैतान मेरे जीवन को नियंत्रित कर रहा था क्योंकि वह मेरे विचारों को नियंत्रित कर रहा था।

4.इस बारे में सोचें कि आप क्या सोच रहे हैं!:बाइबिल इस बात पर बहुत साफ़  निर्देश देती है कि हमें किस तरह की चीजों के बारे में सोचना चाहिए।

हे भाइयों, जो जो बातें सत्य हैं, और जो जो बातें आदरणीय हैं, और जो जो बातें उचित हैं, और जो जो बातें पवित्र हैं, और जो जो बातें सुहावनी हैं, और जो जो बातें मन-भावनी हैं, निदान, जो जो सद-गुण और प्रशंसा की बातें हैं, उन्हीं पर ध्यान लगाया करो।  

फिलिप्पियों 4:8

आपकी सही विचार धारा और साफ़ मन आपको तरक़्क़ी की ओर लेके जाता है। पर इंसान प्रभु के बिना यह नहीं कर सकता। एक पवित्र चीज़ ही हमारी कमज़ोरी को ताक़त में बदल सकती है।

मेरी तरक़्क़ी और ख़ुशी का राज यीशु मसीह के वचन है। उन पर रोज़ ध्यान दे के मैंने जीवन के अनमोल ज्ञान सिखा है। आज आपके लिए यह अनमोल वचन है, इसको अपने दिमाग़ में बिठा ले।
साहसी, निडर, बहादुर बने। क्यों ना आप भी इस नयी मंज़िल पर मेरे साथ चलें।

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